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2025 में भी दोहरी मार के कारण किसानों को रवि की फसल में हाथ लगी मायूसी।

खंडार । खंडार तहसील मुख्यालय से लेकर खंडार तहसील क्षेत्र में सभी जगह पर कई वर्षों से देखा जा रहा है कि वन्यजीवों के उत्पात के कारण कृषि फार्म पर खरीफ की फसल से लेकर रवि की फसल तक 40% से भी अधिक फसल खराब की मार किसानों को झेलनी पड़ रही है। खंडार ब्लॉक मीडिया प्रभारी ज्योतिषाचार्य पंडित मनोज कुमार शर्मा, ओमप्रकाश बैरवा, ओमप्रकाश गुर्जर, भगवान माली, रुकमकेश बैरवा, आदि कई क्षेत्र के किसानों ने बताया कि इस वर्ष 2025 में अतिवृष्टि के कारण क्षेत्र के किसानों की खरीफ की फसल पूरी तरह से चौपट हो गई। जिसका फसल खराबा किसानों को के सी सी के द्वारा किए गए फसल बीमा एवं राजस्थान सरकार के द्वारा नहीं दिया गया। जिससे किसानों को आर्थिक संकट की मार से गुजरना पड़ा है। आर्थिक संकट की मार को झेलते हुए। क्षेत्र के किसानों ने ऋण लेकर रवि की फसल की उगाई की। लेकिन पूरे वर्ष किसानों के कृषि फार्मों पर हिरण, सांवर, रोजडे़, नीलगाय, यहां तक की कई क्षेत्रों में हिंसक वन्यजीवों का उत्पात भी बना रहा। जिसके कारण किसानों को रवि की फसल पर भी 40% से अधिक फसल नुकसान स्वयं ही भुगतना पड़ा है। क्योंकि वन्य सुरक्षा दीवार जगह-जगह से क्षतिग्रस्त होने के कारण वन्य जीव सुरक्षा दीवार से बाहर आकर पूरे वर्ष किसानों के कृषि फार्मों पर ही उत्पात मचाते रहते हैं। जिससे किसानों की खड़ी फसल टूट कर नीचे खेत एवं कृषि फार्मों पर ही बिखर जाती है। कई क्षेत्रों में खेत एवं कृषि फार्मों पर वन्य हिंसक जीवों का उत्पात बना रहने से किसान अपनी फसल की सुरक्षा भी पूरी तरह से नहीं कर पाते हैं। फिर भी किसान जान हथेली पर रखकर खेत एवं कृषि फार्मों पर रात दिन फसल की सुरक्षा में लगा रहता है। लेकिन उसके पश्चात भी किसानो के खेत एवं कृषि फार्मों पर 40% से भी अधिक फसल खराब वन्यजीवों के द्वारा हो जाता है। इसीलिए इस वर्ष 2025 में खंडार तहसील क्षेत्र के किसानों के हालात आर्थिक संकट के कारण बहुत ही खराब देखे जा रहे हैं। जिसका कारण पहले खरीफ की फसल चौपट होने के करण ऋण की मार दूसरी ओर वन्यजीवों के उत्पात के कारण 40% अधिक फसल खराब होने के नुकसान की मार तीसरी और अनाज मंडी में उचित मूल्य पर फसल नहीं बिकने से मायूसी की मार किसानों को इस वर्ष भी झेलना पड़ा है। यहां तक की हमारे भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के द्वारा किसानों के हित में उचित मूल्य की घोषणा की गई। लेकिन खंडार अनाज मंडी में व्यापारियों द्वारा सरकार की नियमों का उल्लंघन करते हुए। मनचाहे तरीके से कीमतों पर फसल खरीदी गई। इस विषय को लेकर किसानों ने मंडी परिसर में कई बार विरोध भी किया। लेकिन स्थानीय प्रशासन द्वारा कोई ध्यान नहीं देने के कारण व्यापारियों की मनमर्जी चलती रही। जिससे किसानों को अपनी फसल का उचित मूल्य प्राप्त नहीं हुआ। जिसके कारण क्षेत्र के किसानों को बड़ी भारी स्थिति पर रवि की फसल में भी 2025 में बड़ी भारी स्थिति पर मायूसी हाथ लगी है। खंडार तहसील क्षेत्र के किसानों के हालातो को देखते हुए। महंगाई के दौर को देखते हुए। राजस्थान सरकार को किसानों के हित में ध्यान देने की बड़ी आवश्यकता है।

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