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रामसर साइट आसन संरक्षण रिजर्व में घायल विदेशी प्रवासी पक्षी 'सुरखाब' की जान बचाई, वन विभाग की टीम ने किया सफल रेस्क्यू

देहरादून, उत्तराखंड – उत्तराखंड की पहली रामसर साइट आसन संरक्षण रिजर्व (आसन बैराज झील) में साइबेरिया से आए प्रवासी पक्षियों की शरणस्थली एक बार फिर सुर्खियों में है। यहां एक दुर्लभ सुरखाब (Ruddy Shelduck) पक्षी घायल अवस्था में मिला, जिसे वन विभाग की टीमली रेंज की तत्पर टीम ने न केवल बचाया बल्कि उपचार के बाद सुरक्षित झील में छोड़ भी दिया। यह घटना वन्यजीव संरक्षण के प्रति विभाग की सजगता का बेहतरीन उदाहरण है।

टीमली वन रेंज से प्राप्त जानकारी के अनुसार, यह सुरखाब पक्षी बाज के हमले में घायल हो गया था। पक्षी को गंभीर चोटें आई थीं, लेकिन समय पर कार्रवाई से उसकी जान बच गई। वन दरोगा जे.एस. नौटियाल और उनकी सहयोगी टीम ने त्वरित कार्यवाही करते हुए पक्षी को रेस्क्यू किया।

वन क्षेत्र अधिकारी (टीमली रेंज) पंकज ध्याननी के निर्देशानुसार आवश्यक उपचार किया गया और पक्षी को पूरी तरह स्वस्थ होने के बाद वापस आसन बैराज झील के प्राकृतिक वातावरण में सुरक्षित छोड़ दिया गया।

आसन संरक्षण रिजर्व देहरादून जिले में यमुना और आसन नदी के संगम पर स्थित है और साइबेरिया, मध्य एशिया सहित विभिन्न क्षेत्रों से हजारों प्रवासी पक्षी हर साल सर्दियों में यहां आश्रय लेते हैं।

सुरखाब जैसे सुंदर और दुर्लभ पक्षी इस झील की जैव विविधता का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। वन विभाग की इस मानवीय पहल ने न केवल एक जान बचाई बल्कि पर्यावरण संरक्षण का संदेश भी दिया।

वन्यजीव प्रेमी और पक्षी अवलोकन करने वाले इस घटना से उत्साहित हैं और विभाग की टीम को बधाई दे रहे हैं। ऐसे प्रयास उत्तराखंड की प्राकृतिक धरोहर को संरक्षित रखने में महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं।

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