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केवल पेट्रोलियम और विस्फोटक सुरक्षा संगठन (PESO) द्वारा प्रमाणित ग्रीन क्रैकर्स का ही सीमित उपयोग अनुमत होगा।

वायु एवं ध्वनि प्रदूषण पर सख्ती : 20 अक्तूबर से 31 जनवरी तक पटाखों के निर्माण, बिक्री और उपयोग पर प्रतिबंध

– जिलाधीश अनीश यादव ने ग्रीन क्रैकर्स के सीमित उपयोग की दी अनुमति

हिसार, 10 अक्तूबर को जिले में बढ़ते वायु एवं ध्वनि प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए जिलाधीश अनीश यादव ने बड़ा कदम उठाते हुए 20 अक्तूबर 2025 से 31 जनवरी 2026 तक जिले की सीमा में सभी प्रकार के पटाखों के निर्माण, बिक्री और उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने के आदेश जारी किए हैं। उन्होंने बताया कि केवल ग्रीन क्रैकर्स को ही निर्धारित शर्तों और समयावधि में उपयोग की अनुमति दी जाएगी।

आदेश भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163, एक्सप्लोसिव एक्ट 1884 तथा एक्सप्लोसिव रूल्स के प्रावधानों के तहत जारी किए गए हैं। जिलाधीश ने कहा कि अक्तूबर से जनवरी के दौरान प्रदूषण का स्तर सामान्य से कहीं अधिक रहता है। इस समय पटाखों से निकलने वाला धुआं, रासायनिक तत्व और शोर आम जनता, विशेषकर बच्चों, बुजुर्गों, हृदय एवं श्वसन रोगियों के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव डालते हैं।

उन्होंने स्पष्ट किया कि बैरियम साल्ट युक्त पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा, क्योंकि ये ठोस कचरे और ध्वनि प्रदूषण दोनों को बढ़ाते हैं।
आदेशों के अनुसार —

जिले में लड़ियों और पारंपरिक पटाखों का उपयोग पूरी तरह निषिद्ध रहेगा।

दीवाली, गुरुपर्व आदि त्योहारों पर ग्रीन क्रैकर्स का उपयोग रात 8 बजे से 10 बजे तक किया जा सकेगा।

क्रिसमस और नववर्ष के अवसर पर ग्रीन क्रैकर्स की आतिशबाजी रात 11:55 से 12:30 बजे तक की अनुमति होगी।

जिलाधीश अनीश यादव ने चेतावनी दी कि आदेशों का उल्लंघन करने वालों के विरुद्ध कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि यह निर्णय राष्ट्रीय हरित अधिकरण (NGT) और सर्वोच्च न्यायालय के दिशा-निर्देशों के अनुरूप लिया गया है ताकि जिले में वायु गुणवत्ता में सुधार हो सके और नागरिकों को स्वच्छ एवं सुरक्षित वातावरण मिल सके।

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