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एक भाषा, एक संस्कृति, एक वेशभूषा- अनुसूचित जाति (एसटी) आरक्षण....

महाराष्ट्र में सम्पूर्ण बंजारा समुदाय को निज़ाम के शासन काल में वर्ष 1978 में हैदराबाद राजपत्र से हटा दिया गया था। जो वर्ष 1920 में समाविष्ठ था, लेकिन बाद में महाराष्ट्र और तेलंगाना संभागों ने सम्पूर्ण बंजारा समुदाय को अनुसूचित जाति (ST) वर्ग में शामिल कर लिया और राज्य सरकार संविधान के अनुच्छेद 342(2) के अनुसार अनुसूचित जाति (SC) के प्रतिशत में अनुसूचित जाति (SC) के आरक्षण को अलग से शामिल करने हेतु केंद्र सरकार से स्पष्ट अनुशंसा करे। आज दिनांक 10/9/2025 को माहुर तालुका के समस्त बंजारा बंधुओं द्वारा तहसील कार्यालय माहुर में लोकतांत्रिक माध्यम से ज्ञापन दिया गया....

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