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जिला अस्पताल में बेड के लिए मारामारी -अयोध्या


#अयोध्या
========जिला अस्पताल का बच्चा वार्ड फुल होने से बेड के लिए मारामारी की स्थिति है। शनिवार को उल्टी-दस्त से पीड़ित दो साल के बच्चे को लिए काफी देर तक विधवा इधर-उधर भटकती रही। हालांकि, बाद में उसे सेप्टिक वार्ड भेजा गया।
जिले में इन दिनों संक्रामक बीमारियां पांव पसार रही हैं। इसकी चपेट में बच्चे भी तेजी से आ रहे हैं। इसका असर लगभग सभी अस्पतालों में दिख रहा है, जहां ओपीडी से लेकर वार्डों तक बीमार बच्चों की भरमार है। शनिवार को अमर उजाला टीम ने जिला अस्पताल का जायजा लिया तो ऐसी ही तस्वीर सामने आई।
यहां 12 बेड का बच्चा वार्ड मरीजों से फुल हो गया तो चार बेड के थैलेसीमिया वार्ड में बच्चे भर्ती किए गए। अब बच्चों को सेप्टिक व जनरल वार्ड में शिफ्ट किया जा रहा है। कुछ को तो रेफर करने की नौबत है। प्रमुख अधीक्षक डॉ. अजय सिंह गौतम ने बताया कि बच्चा वार्ड लगातार फुल चल रहा है। बीमार बच्चों को आयुष्मान वार्ड, जनरल वार्ड आदि में भर्ती किया जा रहा है।
अकबरपुर के सेमरी बाजार के गुड़वल निवासी अलीशा बानो अपनी दो साल की बेटी महक को लिए इधर-उधर भटकती मिलीं। उन्होंने बताया कि उनके पति का निधन हो गया है। वह भदरसा स्थित अपनी बहन के यहां आई थीं। बेटी की तबियत अचानक से खराब हो गई तो उसे लेकर जिला अस्पताल आई थीं। यहां बेड फुल बताया जा रहा है। वहीं, पूराकलंदर के मोइया कपूरपुर निवासी गंगाराम के बेटे हिमांशु (13) और दीपांशु (04) तेज बुखार से पीड़ित थे। दोनों को शुक्रवार की रात जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। मझवा गद्दोपुर निवासी अनिल की बेटी अंशिता श्रीवास्तव (12) को भी तेज बुखार होने पर भर्ती किया गया था।
मेडिकल कॉलेज के बाल रोग विभागाध्यक्ष डॉ. आनंद शुक्ला ने बताया कि उमस और बारिश में वायरल संक्रमण बढ़ा है। क्राॅस इंफेक्शन से भी लोग पीड़ित हो रहे हैं। बच्चे धूप से आएं तो उन्हें सीधे ठंडी जगह न ले जाएं। उन्हें खूब पानी पिलाएं। ताजा खाना खिलाएं। बाहर की तली-भुनी व खुले में रखी वस्तुएं न दें। मच्छर से बचाव के लिए फुल आस्तीन का कपड़ा पहनाएं। घर के आसपास पानी जमा न होने दें।

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