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थायरॉइड संतुलन (Thyroid Balance)

थायरॉइड संतुलन क्यों ज़रूरी है?
थायरॉइड ग्रंथि गर्दन में स्थित एक छोटी लेकिन शक्तिशाली ग्रंथि है, जो T3 (Triiodothyronine) और T4 (Thyroxine) नामक हार्मोन बनाती है। ये हार्मोन शरीर के मेटाबॉलिज्म, ऊर्जा, वजन, मूड, और दिल की धड़कन को नियंत्रित करते हैं।

अगर यह असंतुलित हो जाए, तो दो स्थितियां बनती हैं:

हाइपोथायरॉइडिज्म (Hypothyroidism) — हार्मोन कम बनते हैं।

लक्षण: थकान, वजन बढ़ना, डिप्रेशन, कब्ज, ठंड लगना।

हाइपरथायरॉइडिज्म (Hyperthyroidism) — हार्मोन अधिक बनते हैं।

लक्षण: वजन घटना, घबराहट, नींद न आना, दिल तेज धड़कना।

🥦 थायरॉइड संतुलन के उपाय
✅ आहार:
आयोडीन युक्त नमक (Iodized salt) का सेवन

ब्राजील नट्स, अंडे, दूध, हरी पत्तेदार सब्जियाँ

अधिक सोया, गोभी, ब्रोकली का सीमित सेवन

✅ योग और ध्यान:
सर्वांगासन, मत्स्यासन, भ्रामरी प्राणायाम

स्ट्रेस कम करने के लिए मेडिटेशन

✅ जीवनशैली:
नियमित नींद (7-8 घंटे)

तनाव का प्रबंधन

नियमित स्वास्थ्य जांच (TSH, T3, T4 टेस्ट)

✅ आयुर्वेदिक दृष्टिकोण:
अश्वगंधा और त्रिफला का सेवन कुछ मामलों में मददगार हो सकता है।
(डॉक्टर की सलाह ज़रूरी है।)

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