logo

आवामी एकता मंच हरियाणा द्वारा शहीद ए आजम भगत सिंह, राजगुरु, सुखदेव शहादत दिवस पर सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन।

पानीपत ( दीपक शर्मा ) : आरटीआइ एक्टिविस्ट पी पी कपूर ने प्रेस के नाम जारी बयान में बताया कि देसराज कॉलोनी, पानीपत के देवी मंदिर स्कूल में शहीदों की याद में एक सांस्कृतिक कार्यक्रम और सभा का आयोजन किया गया।
मुख्य वक्ता कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी के इकोनॉमिक्स डिपार्टमेंट से प्रोफेसर अशोक चौहान ने बताया कि आज देश के हालत जैसे बन गए है इसे में ये जरूरी है कि देश के युवाओं को शहीद भगत सिंह की विचारधारा के साथ जोड़ा जाएं और उन्हें शहीदों के असली संघर्षों से अवगत करवाया जाए। 23 मार्च 1931 को हर साल शहीद ए आजम भगत सिंह का शहादत दिवस मनाया जाता है। 23 मार्च के दिन ही साम्राज्यवादी ब्रितानी सरकार ने भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को फांसी चढ़ा दिया था क्योंकि भगत सिंह के विचार उनकी लूट की राह में सबसे बड़ी रुकावट थे। इसलिए उन्होंने उनके विचारों को दबाने के लिए उन्हें उनके साथियों समेत फांसी पर चढ़ा दिया और उन्हें आतंकवादी करार दे दिया।
आरटीआई एक्टिविस्ट कॉमरेड पी पी कपूर ने भी बताया कि अगर हमें अपने देश को सही मायने में धर्म निरपेक्ष व लोकतांत्रिक बनाना है तो देश को समाजवाद के रस्ते पर ले जाने की जरूरत हैं। आज भी मजदूर किसानों की हालत में कोई सुधार आने की बजाए उनके हालत और बदतर हो गई हैं। उन्होंने मजदूर और किसान के राज का सपना देखा था लेकिन आज मौजूदा सरकारें जाति धर्म के नाम पर लोगों को आपस में लड़ा कर बड़े बड़े धन्नासेठों की तिजोरियां भरने में लगी है। उन्होंने लोगों से एकजुट होकर साम्राज्यवाद से लड़ने का आह्वान किया था लेकिन आज नफरती ताकतें समाज को आपस में बांटकर लड़ाने का काम कर रही हैं। कभी हिन्दू मुस्लिम कभी जाट गैर जाट के नाम पर लोगों को आपस में लड़ाया जा रहा है। मेरठ में नमाज पढ़ रहे छात्रों पर मुकदमे दर्ज कर सरकार और विश्वविद्यालय प्रशासन ने इसी घृणित और नफरती साजिश को अंजाम दिया है। सरकार के ऐसे ही प्रयासों से नागपुर में दंगे भड़के। इसलिए लोगों को दोबारा से भगत सिंह और उनके साथियों के विचारों को जानकर उनपर अमल करने की जरूरत है।
आवामी एकता मंच हरियाणा के संयोजक एडवोकेट संजय कुमार ने कहा कि बड़ी शर्म की बात है कि आज की सरकारें भी उनकी राह पर चलने वाले लोगों को आतंकवादी करार देकर जेलों में डाल रही है और झूठी मुठभेड़ों में मार रही है। अगर कोई मजदूर किसानों के हकों की बात करता है तो उस पर देशद्रोह के मुकदमे लाद दिए जाते हैं। धोखे से जबरदस्ती किसानों के धरने को पुलिसिया दमन से उठाकर किसानों को गिरफ्तार करना सरकारों की इसी घटिया सोच का परिचायक है।आज आदिवादियों से उनके जल जंगल जमीन से बेदखल करके बड़े उद्योगपतियों को देने के लिए मौजूदा सरकार द्वारा आदिवासियों का नरसंहार किया जा रहा है, जिसके खिलाफ जनता को उठने की जरूरत है।
इसके अलावा कार्यक्रम को जिला बार एसोशिएसन के पूर्व सचिव एडवोकेट सुनील शर्मा, एडवोकेट राम मोहन राय, हिंद मजदूर सभा उपाध्यक्ष पुष्पेन्द्र शर्मा, एडवोकेट अजय कुमार, एडवोकेट जयगोपाल वधवा, दलित अधिकार मंच से सतपाल सिंह, प्रिंसिपल विनोद सिंगला, बाल विकास स्कूल, अर्जुन नगर के डायरेक्टर सतीश शर्मा ने भी संबोधित किया।
मुख्य अतिथि डॉ ओमबीर पंवार ने धन्यवाद करते हुए कहा कि आज के समय में ऐसे आयोजन की बहुत जरूरत है और लोगों को शहीदों की बताई राह पर चलना चाहिए।
इस कार्यक्रम में थिएटर आर्ट ग्रुप के कलाकारों द्वारा शहीद ए आजम भगत सिंह की जीवनी व उनकी विचारधारा पर एक कोरियोग्राफी पेश की गई व अन्य क्रांतिकारी गीत और प्रस्तुतियां दी गई। कुरुक्षेत्र के इस्माईलाबाद से सांस्कृतिक जागृति मंच से सुभाष ने क्रांतिकारी रागिनी से समा बांध दिया।

25
21961 views