सचिव संतोष कुमार गुप्ता के मिली भगत से नहीं हो पा रहा है कोई कार्य। उनके खौफ से डरते हैं ,नीचे स्तर के कर्मचारी
कुशीनगरजनपद कुशीनगर के ब्लॉक कप्तानगंज के अंतर्गत मलूकही ग्राम सभा में बीते चार वर्षों में केवल सरकारी खजाना को ही खाली किया गया है। सहायक सचिव,सहायक पंचायत व् अन्य लोगों के मिलीभगत से ग्राम सभा में पंचायत सचिव के माध्यम से कोई सराहनीय कार्य नहीं किया गया ।बताते चले कि मलूकहीं ग्राम सभा कोई ऐसा साफ सुथरा रास्ता नहीं है जिससे कि गांव में प्रवेश किया जा सके।रोड खराब है,नाली खराब है,तालाब भरा पड़ा है,घर गिर रहे हैं,प्रार्थना पत्र देने व् फोन के माध्यम अवगत कराने के बाद भी लापरवाही इतनी चरम सीमा पर है कि कोई कार्यवाही नहीं हो पा रही है।इसी क्रम में मनीष सिंह और अंगद यादव ने भी मुख्यमंत्री पोर्टल के माध्यम से समस्या दर्ज कराई गई ,परंतु अधिकारियों के माध्यम से स्वयं रिपोर्ट बना कर भेज दिया जाता है कि इस कार्य को कार्य योजना में शामिल कर लिया गया।जल्द ही इससे निजात मिल जाएगा।चार साल हो गए परंतु अभी तक कार्य योजना संपन्न नहीं हुआ।सहायक सचिव संतोष कुमार गुप्ता के माध्यम से काफी सारे भुगतान अलग अलग बैंक खातों व् फर्जी बिल के माध्यम से बिना हुए कार्य को भी दिखा कर भुगतान किया गया है। गांव में बने शौचालय पर महिला की नियुक्ति हो चुकी है,दो वर्षों से उसका भुगतान किया जा रहा है।और हैरत की बात यह है कि दो वर्षों से शौचालय में ताला लगा है।मतलब ये हुआ कि घोटाला भी चरम सीमा पर है।गांव में सहायक पद पर भर्ती हुए प्रवीण सिंह जो कंप्यूटर ऑपरेटर के कार्य के लिए चयनित किए गए थे उनका भी भुगतान दो वर्षों से होता चला आ रहा है।लेकिन उन्हें भी किसी दिन सहज जन सेवा केंद्र के भवन में बैठे हुए तस्वीर नहीं पाया गया है। लोगो ने गांव के राजनीति के चक्कर में ये भूल गए है कि उन्हें कितने योजनाओं से वंचित किया गया है।मनीष सिंह बताते हैं कि मैने पत्र के माध्यम से भी सभी लोगों को अवगत कराया है। लेकिन कोई कोई प्रभाव नहीं पड़ता है।एक दो जगहों को छोड़ कर किस भी हैंड पंप का पानी पीने के लायक नहीं है।पांच मिनट बोतल में रख देने के बाद बोतल का रंग पिला होने लगता है। पंचायत के माध्यम से लगाई गई रोड के किनारे की लाइट यानी स्ट्रीट लाइट लगने के दो ही दिन बाद खराब हो गई।उसका रख रखाव व मेंटिनेंस के लिए भी कोई नहीं है।उपरोक्त सभी संबंधित समस्याएं सभी उच्च स्तर के अधिकारियों के संज्ञान में दिया जा चुका है।इसी क्रम में डस्टबीन के नाम पर भी बहुत सारे भुगतान स्वीकृत किए जा चुके हैं।सचिव बताते हैं कि सभी कार्य कार्य योजना वर्ष 2024-2025 में शामिल कर लिया गया।वो उनका एक जुमला सा बन गया है।जल्द ही छाया प्रति के साथ पुनः जिलाधिकारी महोदय को साक्ष्य के साथ सभी समस्याओं को अवगत कराया जाएगा।