निजी अस्पताल में ईलाज के दौरान सेविका की हुई मौत, गंभीर बिमारी का चल रहा था ईलाज
विभूतिपुर। थाना क्षेत्र के प्रखंड कार्यालय के निकट एक निजी अस्पताल में इलाज के दौरान आंगनबाड़ी सेविका की मौत ईलाज के दौरान हो गई। अमृत महिला की पहचान रामगढ़ निवाशी विशाल कुमारी की पत्नी आंगनवाड़ी केंद्र संख्या 352 की सेविका ममता सैनी के रूप में किया गया है। मौत की सूचना मिलते ही परिजनों एवं उनके सहयोगियों के हंगामा करने लगे। साथ ही आक्रोषपूर्ण प्रदर्शन करते हुए सिंघिया घाट नरहन सड़क को जानकर हंगामा करने लगा इसकी जानकारी मिलते हैं। 112 की टीम घटना स्थल पर पहुंचे की टीम को आते देख आक्रोशित लोग उग्र हो गए और उनके साथ झड़प होना प्रारंभ हो गया। इसी दौरान पुलिस प्रशासन अस्पताल संचालक को अपने कब्जे में लेने का प्रयास किया तो प्रीत लोग हंगामा करते हुए उन पर टूट पड़े और उसके साथ मारपीट करने लगे। किसी तरह आनन-फानन में पुलिस संचालक को जान बचाते हुए उसे घर में बंद कर सुरक्षित किया। इसी दौरान कुछ पीरित और असामाजिक तत्व के लोग इस हंगामा का फायदा उठाकर निजी नर्सिंग होम में जमकर तौर फोर किया। इस घटना की जानकारी थाना अध्यक्ष आनंद कुमार कश्यप को मिला। उनके द्वारा अपने दलबल के साथ ठिकाने पर पहुंचकर पुलिसिया रुख अपना कर मामले को शांत कराया। इस दौरान बीच बचाव करने आए कई स्थानीय एवं बाहरी लोग को भी चोट आई है। साथ ही अस्पताल में पालतू कुत्ता जो विदेशी नस्ल का है उसे भी गहरी चोट आई है। जानकारी के अनुसार उक्त सेविका की तबीयत पुर्व से खराब था। इसी क्रम में शनिवार को भी तबियत बिगड़ी थी उसने हर वार की तरह की स्वयं विमार होने की जानकारी होने के बाद भी वह एक निजी नर्सिंग होम में आकर इलाज करवा रही थी । इलाज के दौरान उसके मौत रविवार की अहले सुबह हो गई। यह जानकारी देते हुए परिजनों ने अस्पताल के संचालक पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए गलत इलाज के वजह से मौत होना बताया। हैं। वही अस्पताल संचालक डॉ विवेक कुंवर ने बताया की मृतक मरीज का इलाज पूर्व से चल रहा था। उसे बेहतर इलाज हेतु बरीय डॉक्टर के पास जाने की सलाह दी गई थी। लेकिन वह वरीय डॉक्टर के पास जाने में अपनी समर्थता बताकर यही इलाज करने के लिए तैयार थी।इसी क्रम में इलाज हेतु शनिवार को वह आई हुई थी। प्राथमिक उपचार किया गया परंतु बीमारी गंभीर होने की अवस्था में परिजनों को बाहर ले जाने के लिए जानकारी दी गई थी। एंबुलेंस भी बुला लिया गया था। लेकिन उसकी मौत हो गई। उन्होंने बेहतर इलाज बाहर जाकर करने एवं इलाज में लापरवाही कराई जाने के आरोप को खारिज करते हुए उन्होंने जानकारी दी की अस्पताल परिसर में उनकी मौत के बाद कुछ असामाजिक व्यक्तियों के द्वारा काफी तौर फोर किया गया है एवं उनके कर्मियों के साथ भी मारपीट की गई है। जिसमें अस्पताल परिसर में मुख्य काउंटर ओटी रूम सहित विभिन्न खिड़की दरवाजे तथा अन्य मरीजों को रहने की व्यवस्था की गई थी। उसे भी क्षतिग्रस्त कर दिया गया है। इसमें लाखो रुपए की छती हुई है। थाना अध्यक्ष आनंद कुमार कश्यप ने बताया कि अस्पताल परिसर में हंगामा होने की जानकारी मिलते ही पुलिस बल के साथ पहुंचकर हंगामा समाप्त कराया गया और मामले की जानकारी लेकर दोनों पक्षों को समझो जाकर शांत कराया गया। शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल समस्तीपुर भेज दिया गया है। वैसे प्रथम दृष्टिया अस्पताल परिसर में काफी तोर किया हुआ। आवेदन मिलते ही कार्रवाई की जाएगी।