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*बाल तस्करी से आजादी 2.0 विषय पर कार्यशाला का किया गया आयोजन



*देवरिया12 जून।* पुलिस लाईन देवरिया के प्रेक्षा गृह में जिलाधिकारी के क्रम में बाल तस्करी से आजादी 2.0 विषय पर कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला की अध्यक्षता सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण/अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश मनोज कुमार तिवारी के द्वारा किया गया। कार्यशाला का संचालन जय प्रकाश तिवारी संरक्षण अधिकारी जिला बाल संरक्षण इकाई के द्वारा किया गया।
श्री तिवारी के द्वारा कार्यशाला मे उपस्थित अतिथियों का स्वागत सम्बोधन करते हुए बताया गया कि बाल तस्करी/मानव व्यापार एक सामाजिक बुराई है। जिससे बच्चों के अधिकारो का हनन होता है और बच्चे अपने मूल अधिकार से वंचित रह जाते है। बाल तस्करी/मानव व्यापार एक प्रकार का अपराध है। जिसमे किसी मानव को खरीदा और बेचा जाता है तथा उसका इस्तेमाल आजीवन मुफ्त में मजदूरी कराने, उसके शरीर के अंगो को बेचने, भीख मंगवाने, यौन शोषण, वैश्यावृति कराए जाने एवं अन्य लाभ हेतु किया जाता है। भारत के संविधान में अनुच्छेद 23(1) के तहत मानव/व्यक्तियों की तस्करी निषिद्ध है। जिसके अन्तर्गत अनैतिक व्यापार (रोकथाम) अधिनियम 1956 (आई.टी.पी.ए.) व्यवसायिक यौन शोषण एवं तस्करी की रोकथाम के लिए प्रमुख कानून है। बाल तस्करी में आई.पी.सी. की धारा-370 के अन्तर्गत मुकदमा पंजीकृत किए जाने का प्राविधान है। इसके अंतर्गत 10 वर्ष की सजा से लेकर एक लाख रूपये जुर्माने का प्राविधान है। इसका मुख्य कारण गरीबी, शिक्षा का अभाव, बढ़ती जनसंख्या, लड़कियों की सामाजिक असुरक्षा, समुदाय मे जागरूकता का अभाव, बाल विवाह कुप्रथा का प्रचलन, बाल श्रम का प्रचलन इत्यादि है।
कार्यशाला में डा0भीम कुमार गौतम अपर पुलिस अधीक्षक (दक्षिणी) के द्वारा एस.जे.पी.यू. के कर्तव्य एवं दायित्वों के बारे में जानकारी देते हुए बताया गया कि सभी बाल कल्याण पुलिस अधिकारी जे.जे.एक्ट के प्रविधानों के अनुसार सक्रिय होकर कार्य करे। शशी सिंह श्रम प्रर्वतन अधिकारी के द्वारा बाल श्रमिक बच्चों, श्रमिक कानूनों एवं माह जून में चलाए जाने वाले बाल श्रम उन्मूलन अभियान के बारे जानकारी दिया गया।
डा0 संजय कुमार शर्मा उप मुख्य चिकित्साधिकारी के द्वारा बच्चो के मेडिकल परीक्षण एवं उम्र परीक्षण के बारे में जानकारी दिया गया। गोपाल मिश्र खण्ड शिक्षा अधिकारी पथरदेवा के द्वारा कक्षा 06 से कक्षा 8वी तक बेसिक शिक्षा विभाग के द्वारा संचालित होेने वाले जनपद के समस्त सरकारी एवं गैर सरकारी विद्यालयों में प्रहरी क्लब का गठन/बैठक के बारे में बताया गया है। ब्रजेश नाथ तिवारी सदस्य किशोर न्याय बोर्ड के द्वारा किशोर न्याय बोर्ड एवं विधि विरूद्ध बालको के बारे जानकारी दिया गया। सावित्री राय अध्यक्ष बाल कल्याण समिति के द्वारा बाल कल्याण समिति के कार्य एवं पाक्सो से सम्बन्धित विषयो पर जानकारी दिया गया। शैलेश प्रताप सिंह मण्डलीय बाल संरक्षण सलाकार (यूनीसेफ) गोरखपुर के द्वारा बाल तस्करी /मानव व्यापार, बाल विवाह, बाल श्रम, बाल भिक्षावृत्ति के बारे में विस्तृत रूप से जानकारी दिया गया। कार्यशाला की अध्यक्षता कर रहे सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण/अपर जनपद एवं सत्र न्यायाधीश के द्वारा बच्चो के मामले में आवश्यकतानुसार विधिक सहायता प्रदान किये जाने के बारे में बताया गया तथा यह कहा गया कि सभी बाल संरक्षण स्टेक होल्डर सक्रिय होकर कार्य करे। सभी कार्य लिंगल तरीके से जे.जे. एक्ट के प्राविधानो के अनुसार किये जाये तथा आपसी सामन्जस बनाकर भी कार्य करे। कार्यशाला में उपस्थित सभी स्टेक होल्डर बच्चो की संरक्षण एवं पुर्नवासन हेतु जिम्मेदार है। इसके साथ ही राष्ट्रीय लोक अदालत की सफलता हेतु एक साथ आगे आने का आवाहन किया गया है। उन्होने कहा कि राष्ट्रीय लोक अदालत 13 जुलाई दिन शनिवार को आयोजित किया जाना सुनिश्चित है। जिसमे व्यापक स्तर पर बैक, बीमा, राजस्व, विद्युत, जल, सर्विस में वेतन एवं भत्ते, सिविल, श्रम एवं अन्य अपराधिक मामले तथा प्रीलिटिगेशन वादो का निस्तारण किया जाना है।
कार्यशाला में उपस्थित जिलाधिकारी के प्रतिनिधि अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व के द्वारा बाल तस्करी/मानव व्यापार एवं अन्य बाल संरक्षण विषयों पर अपने सुझाव एवं मार्गदर्शन देते हुये कहा गया कि ऐसे कार्यक्रम थाना दिवस एवं तहसील दिवस के अवसरो पर आयोजित किये जाने चाहिये। इसका सीधा लाभ ग्राम स्तर की जनता को होगा तथा बच्चो के पलायन, बाल श्रम, बाल विवाह, बाल भिक्षावृत्ति तथा बाल तस्करी जैसे गम्भीर विषयो पर रोकथाम लगाये जाने की दिशा मे प्रयास किया जाये। धन्यवाद ज्ञापन राकेश सिंह प्रभारी थाना ए.एच.टी.यू. के द्वारा किया गया। कार्यशाला में मुख्य रूप से मंत्री सिंह सदस्य बाल कल्याण समिति, राम कृपाल प्रभारी अधीक्षक राजकीय बाल गृह बालक, रणजीत कुमार विधि सह परिवीक्षा अधिकारी, जिला बाल संरक्षण इकाई, नीतू भारती एवं मीनू जायसवाल वन स्टाप सेन्टर, महिला कल्याण, जिला बाल संरक्षण इकाई, चाइल्ड हेल्प लाइन, थाना ए.एच.टी.यू. के कार्मिक एवं जनपद के समस्त थानो पर नामित बाल कल्याण पुलिस अधिकारी उपस्थित रहे।

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