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काचा ओल इतुल आसड़ा में मिलेगा पुराने रिति-रिवाज सिखने का मौका


जमशेदपुर : जिले का ग्रामीण क्षेत्र काचा में ओल इतुल आसड़ा रविवार को खोला गया है. यहां पर ओलचिकी लिपि में संताली भाषा, साहित्य और लिपि सिखाए जाएंगे. आसड़ा में बच्चों को पुराने रिति-रिवाज की जानकारी दी जाएगी. वाद्य यंत्र के बारे में बताया जाएगा. साथ में नाच-गान भी सिखाने का काम किया जाएगा. कुल मिलाकर विलुप्त हो रही परंपरा और संस्कृति से नई पीढ़ी को पारंगत करने का काम किया जाएगा. एसपी इंटर कॉलेज में संताली भाषा के टीचर लखाई हांसदा के अनुसार ओल इतुल आसड़ा में मंगलवार, बुधवार, शनिवार और रविवार को क्लास होगी. क्लास लेने का काम मोहन हांसदा करेंगे.

ओल इतुल आसड़ा को खोलने और सुचारू रूप से चलाने में टाटा स्टील फाउंडेशन की ओर से पहल की जा रही है. साथ में करनडीह जाहेरथान कमेटी की ओर से भी मार्गदर्शन भी दिया जा रहा है. ओल इतुल आसड़ा खोलने के साथ ही वहां पर आयोजित समारोह में गुरुजी शिबू सोरेन और दिवंगत शिक्षा मंत्री रामदास सोरेन को श्रद्धांजलि दी गई. इस बीच दोनों नेताओं की जीवनी के बारे में भी लोगों को बताया गया.
लखाई बास्के, मोहन हांसदा, हीरा टुडू, लक्ष्मी सोरेन, भागीरथी सोरेन. लाल मोहन हांसदा, सुकलाल सोरेन, सोपना मार्डी, महेश्वर सोरेन, राजू सोरेन, लोधिया सोरेन, राकेश सोरेन, अंजलि सोरेन, पार्वती सोरेन, संचिता सोरेन, संयुक्ता सोरेन, पूजा टुडू, आंचल सोरेन, शिवालिका मार्डी, शुरूबाली मार्डी आदि मौजूद थे.

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