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नम आंखों से शहीद को अंतिम विदाई देने के लिए उमड़ा जनसैलाब

फ़तेहपुर । दो दिन पहले लद्दाख में शहीद हुए सेना के जवान राजेश कुमार का शव रविवार की सुबह जैसे ही पैतृक गांव पहुंचा।

शव घर पहुंचते ही कोहराम मच गया। वहीं आसपास इलाके में हर किसी की आंखें नम हो गईं। शहीद को अंतिम विदाई देने के लिए लोगों का जनसैलाब उमड़ पड़ा।

रविवार को सुबह सेना के वाहन से शहीद सैनिक की शव यात्रा निकाली गई। इस दौरान चारों तरफ राजेश कुमार अमर रहें के नारे गूंजते रहे। अधिकारियों व जनप्रतिनिधियों की मौजूदगी में उनका अंतिम संस्कार किया गया।

अपने मिट्टी के लाल को हजारों लोगों ने आंसुओं के बीच अंतिम विदाई दी।अमौली विकासखण्ड के खदरा गांव के रहने वाले राजेश कुमार प्रयागराज में सेना के चार डिफेंस ऑर्डिनेंस यूनिट में कार्यरत थे। जिन्हें अगस्त माह में एमरजेंसी ड्यूटी में लद्दाख भेजा गया था। शुक्रवार की सुबह प्रयागराज में उनकी पत्नी अंजली के पास राजेश कुमार के शहीद होने की फोन पर खबर आई। जिसकी जानकारी अंजली ने परिवार को दी। रविवार को दोपहर शहीद की शवयात्रा निकाली गई। इस दौरान हजारों की संख्या में मौजूद लोग राजेश कुमार अमर रहें के नारे लगाते रहे।शहीद की पत्नी अंजली, बेटे राज व गौरव, शहीद की मां कमला देवी, पिता छोटेलाल, भाई दिनेश कुमार व बहनों के अलावा परिवार के अन्य सदस्य शव से लिपटकर रोने लगे। परिवार के लोगों को संभालना मुश्किल हो गया था।


कुछ देर बाद शहीद के शव को अंतिम दर्शन के लिए रखा गया।अंतिम दर्शन करने के लिए लोग धक्कामुक्की करते रहे। फ़तेहपुर की सांसद व केंद्रीय राज्यमंत्री साध्वी निरंजन ज्योति प्रदेश के कारागार मंत्री जयकुमार जैकी डीएम, एसपी समेत अन्य जनप्रतिनिधियों ने पार्थिव शरीर पर पुष्प चढ़ाकर श्रद्धांजलि अर्पित की। शवयात्रा में जिले के तमाम नेता व प्रशासनिक अधिकारी मौजूद रहे।

अंत्येष्टि स्थल पर पुष्प वर्षा के बीच उनका पार्थिव शरीर ले जाया गया। जहां परिजनों के साथ शहीद के पार्थिव शरीर को लखनऊ से लेकर आये सेना की टुकड़ी के जवानों ने भी राजकीय सम्मान के साथ शहीद के अंतिम संस्कार में शामिल रहे।

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